Invalid slider ID or alias.

पूर्व मंत्री जाड़ावत का भाजपा सरकार एवं प्रशासन पर गंभीर आरोप, कहा: उद्योगो को नही कर दे पलायन पर मजबूर।

 

वीरधरा न्यूज़। चित्तौडग़ढ़@ श्रीमती दीपिका जैन।

चितौड़गढ़। राजस्थान के पूर्व राज्यमंत्री सुरेंद्रसिंह जाड़ावत ने भाजपा सरकार एवं जिला प्रशासन पर बड़ा हमला बोलते हुए कहा की कठोर एवं सख्त पूर्ण रवेये से जिले में लगने वाले उद्योग कही पलायन को नहीं हो जाए मजबूर, पहले ही मोदी सरकार में बेरोजगारी चरम पर है, बेरोजगार युवाओं के प्रति संवेदनशीलता दिखाते हुए रोजगार के मार्ग प्रशस्त करने वाली औद्योगिक इकाईयां जिले में स्थापित हो इसको लेकर स्थानीय जनप्रतिनिधियों को संज्ञान लेना चाहिए।
उन्होंने कहा की जिले में बेरोजगारी को दूर करने के लिए युवाओं को रोजगार के नए अवसर प्राप्त हो उसके लिए कांग्रेस शासन काल के 2008 से 2013 में बिरला सीमेंट, आदित्य सीमेंट व 2018 से 2023 के शासनकाल में जिंक यूनिट एवं पूर्व में निंबाहेड़ा स्तिथ वंडर सीमेंट के लिए की गई जनसुनवाई सुख शांति वार्ता कर सफल हुई थी एवं प्लांट स्थापित होकर सुचारू रूप से चले जिसमे कुशल अर्धकुशल श्रमिको को रोजगार प्राप्त हुआ।
किंतु अभी हाल ही में सरकार बदलने के बाद आदित्य सीमेंट की नवीन यूनिट के लिए जनसुनवाई 19 मार्च को रखी गई थी आचार संहिता का हवाला देते हुए उसे एनवक्त पहले 18 मार्च को निरस्त कर दी गई जबकि पड़ोस के राज्य मध्यप्रदेश के नया गांव में विक्रम सीमेंट की यूनिट के लिए उसके 3 दिवस बाद होने वाली जनसुनवाई संपन्न हो गई थी जो की चित्तौड़गढ़ जिले से मात्र 30 किलोमीटर दूरी पर स्तिथ था। पूर्व राज्यमंत्री ने कहा की लोकसभा चुनाव पश्चात आदित्य सीमेंट की पहले निरस्त की गई जनसुनवाई के लिए 12 जुलाई तय की गई जिसे पुनः11 जुलाई को निरस्त कर दी गई अगर समय पर जनसुनवाई पूरी होती तो 300 युवाओं को परमानेंट एवं 3000 श्रमिको को रोजगार प्राप्त होता इसी प्रकार जिले के गंगरार क्षेत्र में लगने वाली AIS ग्लास फेक्ट्री की दूसरी यूनिट खुलने के पूर्व व्यवधान पैदा किया गया जिसमे प्रशासन के असहयोग के चलते परेशान होकर ग्लास फैक्ट्री यूनिट प्रबंधक द्वारा नीमच मध्यप्रदेश में शिफ्ट हो रही है, जिससे जिले के युवा रोजगार से वंचित हो गए उन्होंने भाजपा एवं जिला प्रशासन को कठघरे में खड़ा करते हुए आरोप लगाया कि जिले की अर्थव्यस्था को मजबूती मिले एवं युवाओं को रोजगार के लिए उद्योग स्थापित होना अतिआश्यक है किन्तु इनके द्वारा जिस प्रकार से कठौर रवैया अपनाया जा रहा है कही ऐसा नहीं हो की AIS ग्लास फैक्ट्री की दूसरी यूनिट तरह की अन्य औद्योगिक इकाईयां भी पलायन को मजबूर हो जाए अगर ऐसा हुआ तो बहुत दुर्भाग्यपूर्ण होकर चित्तौड़गढ़ जिले को नुकसान उठाना पड़ेगा। अभी हाल ही में कुछ दिनों पूर्व जिंक प्रशासन पर भी दबाव डाला गया जिस पर इंटक श्रमिको द्वारा प्रशासन के खिलाफ प्रदर्शन किया गया भाजपा सरकार को जिले में लगने वाले उद्योगों के प्रति सकारात्मक रवैया अपनाकर बेरोजगार युवाओं के लिए रोजगार का मार्ग प्रशस्त करना चाहिए।

Don`t copy text!