वीरधरा न्यूज़।बौंली/बामनवास @ श्री श्रद्धा ओम त्रिवेदी।
बौली।भारतीय जनता पार्टी किसान मोर्चा के प्रदेश मंत्री रामअवतार मीणा ने उप जिला कलेक्टर बौली के माध्यम से जिला कलेक्टर सवाई माधोपुर को पुनः स्मरण ज्ञापन देते हुए कहा कि 18 अप्रैल को आपको जिले में समर्थन मूल्य के कांटे शुरू करने का ज्ञापन दिया गया था लेकिन आज दिन तक कांटे शुरू नहीं हुए जिससे किसान बेहद परेशान और आर्थिक शोषण का शिकार हो रहा है। ओने पौने दामों पर मंडियों में एवं बिचौलियों को अपनी फसल बेचने को मजबूर हो रहा है। किसान का इस कांग्रेस राज में कोई धणी धोरी नहीं बन रहा है।
मीणा ने बताया कि जिले में 1 अप्रैल से समर्थन मूल्य पर खरीद के कांटे शुरू होने थे लेकिन एकमात्र सवाई माधोपुर मुख्यालय पर ही खरीद शुरू हो पाई है जहां पर भी 18% मौसर (फसल को गिला) बताकर किसानों को परेशान किया जा रहा है और आर्थिक शोषण किया जा रहा है जब 1 माह पूर्व फसल कट गई और अब मौसर बताकर किसानों की फसल नहीं खरीदना सरकार व प्रशासन की दोगली नीति को उजागर कर रहा है यह किसानों के साथ छलावा अन्याय व धोखाहै। जिसको किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। किसान जैसी फसल लेकर आ रहा है उसे खरीदने की समुचित व्यवस्था की जाए।
वर्तमान में किसानों को बच्चों के विवाह, सगाई, स्कूल फीस, साहूकारों का कर्ज, केसीसी,भात, जामना,अन्य उधारी चुकता करने का तकाजा हो रहा है किसान चारों तरफ से दबाव में हैं लेकिन अभी तक फसल खरीद शुरू नहीं करना और 15 दिनों से ई-मित्र केंद्र पर गिरदावरी की नकली नहीं मिलना राजस्व के कार्मिकों के आए दिन किसान चक्कर काट काट कर दर दर की ठोकर खाकर शाम को खाली हाथ घर लौट रहे हैं। उनकी पीड़ा को कोई समझ नहीं रहा है और मजबूरन घाटा उठाकर जरूरतों को पूरा करने के लिए अपनी फसलों को मंडियों में बेचने पर मजबूर हो रहे हैं
भारत सरकार ने सरसों का समर्थन मूल्य 5450 रूपए तय कर रखा है जबकि मंडियों में 4500 रूपए क्विंटल बिक रही है प्रति क्विंटल किसान को 950 रूपए का आर्थिक घाटा उठाना पड़ रहा है। इसी प्रकार चने का समर्थन मूल्य 5335 रूपये तय कर रखा है यहां भी किसानों को 935 रूपये प्रति क्विंटल का घाटा उठाकर फसल बेचनी पड़ रही है। गेहूं का समर्थन मूल्य 2350 रुपये है जबकि मंडियों में 1900 रुपये क्विंटल बिक रहा है किसान को ₹450 का आर्थिक घाटा हो रहा है। लेकिन सरकार व सरकार के नुमाइंदे जनप्रतिनिधि, प्रशासन आंखें बंद कर बैठा है किसान शोषण की चक्की में पीस रहा है। इसका मुझे बहुत दर्द है इसके लिए मैं अपनी लड़ाई शुरू करूंगा।
जिले में कुल 20 स्थानों पर समर्थन मूल्य पर खरीद करने की सहकारिता विभाग द्वारा घोषणा कर रखी है लेकिन अभी तक पूर्ण रूप से कहीं पर भी खरीद शुरू नहीं की गई है संबंधित अधिकारी कार्मिकों व्यवस्थापकों से संपर्क किया तो कोई ठोस आश्वासन व गारंटी नहीं दी जा रही कि किस तिथि से खरीद शुरू करेंगे।
जिले में बोली, भाडोती, बाटोदा, खंडार, बामनवास, गंगापुर सिटी,सवाई माधोपुर 7 स्थानों पर केवीएसएस द्वारा तथा मित्रपुरा शैषा, मलारना चौड़, पांचोलास, चौथ का बरवाड़ा, भगवतगढ़, लिवाली, कुनकटातलावड़ा, नौगांव, मोहचा, वजीरपुर, छोटी उदेई, कुल 13 स्थानों पर जीएसएस के माध्यम से समर्थन मूल्य पर कांटे खोलने की घोषणा एक से डेढ़ माह पूर्व कर दी गई थी जहां भाडोती में केवल राजफैड द्वारा गेहूं खरीदे तथा अन्य सभी स्थानों पर चना व सरसों की खरीद की व्यवस्था सरकार द्वारा की गई है। एफसीआई के द्वारा सभी केंद्रों पर गेहूं खरीद की व्यवस्था की गई है लेकिन आज तक खरीद शुरू नहीं करना सरकार की किसान विरोधी एवं शोषणकारी नीति को उजागर करता है।
सरकार की नियत में खोट है इसे अब बर्दाश्त नहीं किया जाएगा यदि तीन दिवस में समर्थन मूल्य पर कांटे शुरू नहीं किए गए तो सरकार द्वारा घोषित सभी स्थानों पर किसानों के साथ धरना शुरू किया जाएगा जिसकी संपूर्ण जिम्मेदारी सरकार एवं जिला प्रशासन की होगी।