वीरधरा न्यूज़।बौंली/ बामनवास@ श्री श्रद्धा ओम त्रिवेदी।
बोंली।कृषि विभाग बोली के तत्वावधान में सहायक कृषि अधिकारी एवं कृषि पर्यवेक्षक बौली अक्षिता जाट ने किसानों को डीएपी उर्वरक की जगह सिंगल सुपर फास्फेट का उपयोग करने की सलाह दी है इससे फसलों की गुणवत्ता एवं उत्पादन में भी सुधार होगा। एसएसपी फास्फोरस के साथ-साथ अन्य पोषक तत्व जैसे सल्फर, केल्शियम आदि भी पौधे को प्रदान करता है। जो दलहन एवं तिलहन फसलों में तेल एवं प्रोटीन प्रतिशतता बढ़ाने हेतु लाभदायक है।
इस प्रकार एक एस एस पी उर्वरक से ही कई पोषक तत्व एक साथ फसल को मिलते हैं जिससे अलग-अलग उर्वरको पर होने वाली लागत
में कमी होगी। एसएसपी बाजार में डीएपी की अपेक्षा आसानी से एवं कम दाम पर उपलब्ध हो जाता है। एक बैग DAP में 9 किलो नाइट्रोजन एवं 23 किलो फास्फोरस पाई जाती है। यदि 1 बैग डीएपी के स्थान पर विकल्प के रूप में 3 बैग एसएसपी एवं 1 बैग युरिया दिया जाए तो 16-18 किलो कैल्शियम 24 किलो फास्फोरस 20 किलो नाइट्रोजन एवं 16 किलो सल्फर पौधो को उपलब्ध होगी। इसके साथ ही उर्वरको की लागत कम करने के लिए एवं भूमि की उर्वरता शक्ति बढ़ाने के लिए तरल उर्वरक नैनों यूरिया एवं नैनों डीएपी का उपयोग किसानों को फसलों में करना चाहिए।