चित्तौडग़ढ़-महिलाओं पर हो रहे अत्याचारों को रोकने के लिए राष्ट्रीय मूल निवासी संघ ने राष्ट्रपति के नाम एडीएम को दिया ज्ञापन।
वीरधरा न्यूज़।चित्तौड़गढ़@ श्री अभियंता अनिल सुखवाल।
चित्तौडग़ढ़।राष्ट्रीय मूल निवासी संघ के बैनर तले करीब 40 महिलाएं चित्तौड़गढ़ जिला कलक्टर कार्यालय पहुंची और उन्होंने राष्ट्रपति के नाम अतिरिक्त जिला कलक्टर को ज्ञापन सौंपकर देशभर में महिलाओं पर हो रहे उत्पीड़न और बलात्कार की निंदनीय घटनाओं की रोकथाम कर त्वरित कार्रवाई की मांग की है।
राष्ट्रीय मूल निवासी संघ की प्रदेश संयोजिका डॉक्टर सीता खटीक के नेतृत्व में ज्ञापन सौंप कर बताया है कि देशभर में महिलाओं पर हो रहे हैं अत्याचार और बलात्कार जो कि रुकने का नाम नहीं ले रहे हैं।
डॉक्टर सीता खटीक ने बताया कि वर्तमान समय में महिला पहलवानों के साथ लैंगिक अत्याचार होते हुए भी दिल्ली पुलिस द्वारा किसी भी प्रकार
का संज्ञान नहीं लिया गया यह भारत जैसे राष्ट्र के लिए बहुत अपमानजनक बात है। अनुसूचित जनजाति की महिला एवं नाबालिग बच्चियों के साथ हर तीसरे मिनट एक घटना सुनने को मिलती है जैसे कि महाराष्ट्र के नासिक के अम्बद से एक अल्पायु लड़की की हत्या की गयी। भारत में 73851 महिलाएं यौन शोषण की शिकार हो चुकी है (2021) तथा बच्चों के खिलाफ अपराध का ये मामला 75418 (दिसंबर 2022) एक अपराध का आंकड़ा एक अकेले साल में 9486 हो गया था तथा बाल हत्या का आकड़ा 14828 हो गया है। इनमें से कई ऐसी घटना है जिसमें पुलिस द्वारा एफ आई आर भी नहीं दर्ज की गई राष्ट्रीय मूल्य निवासी संघ ने राष्ट्रपति से मांग की है कि पुलिस में महिला रेस्लरों की बृजभूषण सिंह के खिलाफ एफ आई आर रजिस्टर करके उसको गिरफ्तार किया जाए। देश में घरेलू हिंसा निवारण हेतु एकल विंडो सिस्टम से शिकायतों का निपटारा हो इसके लिए सहायता केंद्र ( हेल्प सेंटर) का निर्माण होना चाहिए। महिला पुलिस थानों का निर्माण कर महिलाओं की शिकायत प्राप्त होते ही 24 घंटे के अंदर अपराधी को गिरफ्तार करने के आदेश दिए जाए। महिलाओं के न्याय के लिए स्वतंत्र महिला न्यायालय निर्माण किए जाए। एससी एसटी ओसी महिलाएं का जाति वर्ग भेदभाव के कारण सबसे ज्यादा लैंगिक शोषण होता है, इसलिए उसके रोकथाम के लिए बहुजन महिला अत्याचार निवारण सेल थाने में निर्माण करना चाहिए। महिला अत्याचार में जो पुलिस अधिकारी सही मानने में जानबुझकर लापरवाही करते है उन अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई होनी चाहिए। असंगठित क्षेत्र में काम करने वाली महिलाओं के लिए कार्य क्षेत्र में विशाखा समिति की तरह लैंगिक अत्याचार रोकने हेतु एक समिति का निर्माण करना चाहिए इस तरह की अन्य नामले की जाब आधी आबादी महिलाओं के हित एवं बच्चों संरक्षण हेतु सख्त कदम उठाने हेतु नये कानून के निर्माण हेतु राज्य सरकार को राष्ट्रपति निर्देशित करेगी ऐसी आशा और उम्मीद के साथ राष्ट्रीय मूल निवासी संघ द्वारा ज्ञापन सौंपा गया।