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चित्तौड़गढ़ के पुलिस दंपती ने एक करोड़ 90 लाख रुपए ठगे, रजिस्ट्री के बहाने गुजरात के प्रॉपर्टी डीलर को दिया झांसा।

वीरधरा न्यूज़।चित्तौड़गढ़@ स्नेहा व्यास।

चित्तौड़गढ़।पुलिस दंपती इंस्पेक्टर जगदीश सिंह पुत्र शिवनारायण चौहान व पत्नी एएसआई कमलेश कुंवर ने अहमदाबाद के प्रॉपर्टी डीलर के साथ चित्तौड़गढ़ और प्रतापगढ़ में जमीनों का सौदा करने के बहाने रजिस्ट्री के नाम पर एक करोड़ 90 लाख रुपए ऐंठ लिए। दंपति ने प्रॉपर्टी डीलर के नाम से ही अपनी पहचान बताई थी। दोनों ने 55 लाखों रुपए का चेक तो दिया लेकिन वह भी बाउंस हो गया। टोकने पर दोनों ने धमकियां देना शुरू कर दिया। अहमदाबाद के प्रॉपर्टी डीलर चित्तौड़गढ़ पहुंचे और सदर थाने में मामला दर्ज करवाया।

सदर थाना प्रभारी गोवर्धन सिंह ने बताया कि अहमदाबाद सिटी, गुजरात में रहने वाले प्रॉपर्टी डीलर अजय कुमार सुंदरम परसरामपुरिया ने एक रिपोर्ट दर्ज करवाई है। रिपोर्ट तो कई दिनों पहले दी गई थी लेकिन इसे विभागीय जांच में रखा गया था। रिपोर्ट सही पाए जाने पर मामला दर्ज किया गया।

रिपोर्ट में बताया कि अजय सुंदरम गुजरात और राजस्थान में प्रॉपर्टी डीलिंग करने का काम करते हैं। इस सिलसिले में वह अपनी पत्नी शिल्पा के साथ साल 2010 में चित्तौड़ कर आए थे। जहां उनकी मुलाकात जगदीश सिंह पुत्र शिवनारायण चौहान से हुई। जगदीश सिंह ने अपने आपको प्रॉपर्टी का व्यापारी और दलाल बताते हुए चित्तौड़गढ़-प्रतापगढ़ जिले में अच्छी कीमत पर जमीन दिलवाने की बात कही। जगदीश सिंह ने अजय सुंदरम का विश्वास जीतने के लिए प्रतापगढ़ निवासी राजेंद्र कुमार चौधरी की एक जमीन दिखाई और उनकी पत्नी शिल्पा के नाम रजिस्ट्री करवाई। इस सौदा के कारण अजय ने भी जगदीश सिंह पर भरोसा कर लिया।
जगदीश सिंह ने अजय सुंदरम को आवासी कॉलोनी और व्यवसायिक प्लॉट तैयार किए जाने की प्लानिंग बताई और चित्तौड़गढ़-प्रतापगढ़ में जमीन दिलवाने की बात कही। इस पर अजय सुंदरम ने 210 बीघा जमीन दिलाने के बदले में ऑनलाइन, चेक और नकद के जरिए एक करोड़ 90 लाख रुपए जगदीश सिंह को दे दिए। जगदीश ने रुपए लेने के बाद किसी भी जमीन की रजिस्ट्री नहीं करवाई। जब अजय सुंदरम को धोखे की आशंका हुई तो वह फिर से जगदीश सिंह से साल 2016 में मिला। जगदीश सिंह कुंभा नगर के एक मकान में अजय सुंदरम को बुलाया और अपनी असली पहचान बताई। उसने बताया कि वह सीआईडी/सीबी में इंस्पेक्टर की पोस्ट पर है और उसकी पत्नी कमलेश कंवर एएसआई के पद पर है। नौकरी सीक्रेट होने के कारण सबको प्रॉपर्टी का दलाल ही बताते हैं।

चेक बाउंस के बाद देने लगे धमकी
जगदीश ने जल्दी रजिस्ट्री करवाने की बात कही। उसके बाद आरोपियों ने मई 2022 में कुछ जमीनों की रजिस्ट्री दो-तीन महीने में जल्दी करवाने का आश्वासन दिया और कुछ सौदा कैंसिल होने की बात कही। उसके बदले में 55 लाख रुपयों का चेक दिया। वह भी बाउंस हो गया। चार-पांच महीने निकलने के बावजूद भी आरोपियों ने अपने वादे पूरे नहीं किए और व्हाट्सएप कॉलिंग कर जान से मारने की धमकी देने लगे। अजय सुंदरम ने आरोप लगाया कि इन दोनों के साथ प्रतापगढ़ निवासी श्रीराम मेघवाल और उसकी पत्नी कुस्बा देवी भी शामिल है।

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